भोपाल में बीजेपी और कांग्रेस के महपौर उम्मीदवार किए गए नापंसद
भोपाल में बीजेपी और कांग्रेस के महपौर उम्मीदवार किए गए नापंसद सांकेतिक चित्र
मध्य प्रदेश

भोपाल में बीजेपी और कांग्रेस के महापौर उम्मीदवार किए गए नापंसद

Shravan Mavai

भोपाल, मध्यप्रदेश। प्रदेश में हाल ही में 11 नगर निगम महापौर पद के चुनाव परिणाम घोषित किए गए। परिणाम के अनुसार 11 में 6 भारतीय जनता पार्टी, तीन पर कांग्रेस और एक सीट पर आम आदमी की उम्मीदवार ने जीत हासिल की है। इसमें बीजेपी की उम्मीदवार मालती राय ने 98 हजार से अधिक वोट से विजय प्राप्त की है। वहीं कांग्रेस की उम्मीदवार विभा पटेल को 362488 मत मिले है। बीजेपी जीत का जश्न मना रही और कांग्रेस हार के कारण तलाशने में लगी है, लेकिन भोपाल में सबसे अधिक नोटा वोट डाले गए इस तथ्य पर दोनों दल के जिम्मेदार नेता ध्यान नहीं दे रहे है। 11 नगर निगम के मतदातााओं ने सबसे अधिक नापसंद भोपाल के बीजेपी और कांग्रेस के उम्मीदवार को किया है। यहां मतदाताओं ने अपनी नापसंद को दिल खोलकर जाहिर किया। राजधानी में 8104 नोटा वोट डाले गए। यह आंकड़ा सबसे अधिक है। नोटा वोट की कुल संख्या बता रही है कि भोपाल नगर निगम चुनाव में महापौर पद के दोनों प्रमुख दल के उम्मीदवारों को मतदाताओं को पंसद नहीं आए। ये अलग बात है कि बीजेपी की उम्मीदवार मालती राय ने 98 हजार से अधिक वोट से विजय प्राप्त की है।

भोपाल में मतदान को लेकर बीतें चुनाव की तुलना में मतदाताओं में उत्साह की भारी कमी देखी गई। यही वजह रही है कि मतदान का प्रतिशत (लगभग 52 फीसदी) रहा। जबकि साल 2015 के चुनाव में 56 प्रतिशत मतदान किया गया था। मतदान को लेकर तो मतदाताओं में उत्साह कम था ही वहीं उम्मीदवार भी पंसद नहीं किए गए। भोपाल में प्रदेश के 11 नगर निगम के तुलना में सबसे अधिक 8104 नोटा वोट डाले गए है। इससे साफ होता है कि राजधानी के मतदाताओं को उम्मीदवारों के चयन को लेकर असंतुष्टी रही।

क्या है नोटा :

नोटा का हिन्दी अनुवाद अर्थ है- इनमें से कोई भी नहीं। नोटा का उपयोग पहली बार भारत में 2009 में किया गया था। स्थानीय चुनावों में मतदाताओं को नोटा का विकल्प देने वाला छत्तीसगढ़ भारत का पहला राज्य था। नोटा बटन ने 2013 के विधानसभा चुनावों में चार राज्यों - छत्तीसगढ़, मिजोरम, राजस्थान और मध्यप्रदेश और दिल्ली में शुरुआत की। 2014 से नोटा पूरे देश मे लागू हुआ। निर्वाचन आयोग ने दिसंबर 2013 के विधानसभा चुनावों में इलेक्ट्रॉनिक वोटिंग मशीन में इनमें से कोई नहीं अर्थात नोटा बटन का विकल्प उपलब्ध कराने के निर्देश दिए थे। 2018 में नोटा को भारत में पहली बार उम्मीदवारों के समकक्ष दर्जा मिला। हरियाणा में दिसंबर 2018 में पांच जिलों में होने वाले नगर निगम चुनावों के लिए हरियाणा चुनाव आयोग ने निर्णय लिया कि नोटा के विजयी रहने की स्थिति में सभी प्रत्याशी अयोग्य घोषित हो जाएंगे तथा चुनाव पुन: कराया जाएगा। हालांकि अभी भारत निर्वाचन आयोग ने इसे लागू नहीं किया है।

किसको कितने वोट :

कुल मत : 860217

मालती राय : 461335

विभा पटेल : 362488

नोटा : 8104

किस नगर निगम को कितने नोटा मिले :

  • भोपाल नगर निगम में कुल नोटा मत : 8104

  • ग्वालियर नगर निगम में कुल नोटा मत : 4015

  • इंदौर नगर निगम में कुल नोटा मत : 6046

  • जबलपुर नगर निगम में कुल नोटा मत : 6337

  • उज्जैन नगर निगम में कुल नोटा मत : 2255

  • छिंदवाड़ा नगर निगम में कुल नोटा मत : 1169

  • सिंगरौली नगर निगम में कुल नोटा मत : 852

  • सतना नगर निगम में कुल नोटा मत : 1070

  • खंडवा नगर निगम में कुल नोटा मत : 1041

  • बुरहानपुर नगर निगम में कुल नोटा मत : 677

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