बच्‍चों को बनाना चाहते हैं जिम्‍मेदार तो अपनाएं ये TIPS

Kavita Singh Rathore

आजकल के बच्चे अपनी जिम्मेदारियों को जल्दी समझना नहीं चाहते हैं, लेकिन आप उन्हें उनकी जिम्‍मेदारी सिखाएं। उन्हें ये बताएं कि, वह काफी सक्षम हैं और वे किसी भी जिम्मेदारी को बखूबी निभाएगें ।

जिम्‍मेदारी सिखाएं | Aayush - RE

बच्चों को जिम्‍मेदार बनाने के लिए उनके लिए कई नियम बनाकर उन्हें फॉलो करने को कहें। नियम बनाने के साथ ही उन्‍हें ये भी बताएं कि यह उनके लिए क्‍यों जरूरी हैं और इनको फॉलो करने के क्‍या परिणाम होंगे।

बच्चों के लिए बनाएं नियम | Aayush - RE

बच्‍चों को जिम्‍मेदारी लेने पर उन्हें होने वाले फायदों से जोड़कर बताएं। बच्‍चों को बताएं कि यह उनकी भलाई के लिए है और वह इससे आगे के लिए तैयार होंगे।

जिम्‍मेदारी को फायदों से जोड़कर बताएं | Aayush - RE

कई बार हम बच्चों को दिया हुआ काम खुद ही उसे करने लग जाते हें। ऐसा न करें धैर्य रखें और उन्हें उस काम को करने का समय दें।

बच्चों को समय दें | Aayush - RE

बच्चों को घरेलू कामकाज की जिम्मेदारी भी लेने दे। उनका कामकाज करना इस बात का अच्‍छा संकेत हैं कि, बच्‍चे बड़े होकर स्वस्थ और स्‍वतंत्र रहेंगे। बच्चों को काम न देने से वे किसी काम को करने का प्रयास नहीं करेंगे और जिम्‍मेदार बनने से वंचित रह जाएंगे।

घर के काम करने दें | Aayush - RE

बच्चों को रोल मॉडल के जरिए भी जिम्मेदारी सिखाई जाती है। उन्हें बताएं लाइफ में किसी को रोल मॉडल बनाना चाहिए। जिसे हम फॉलो कर सकें। पेरेंट्स के रूप में हम उन्हें दिखा सकते हैं कि हम खुद प्रतिबद्धताओं और दायित्वों को कैसे पूरा करते हैं और इसके क्‍या नतीजे हैं।

रोल मॉडल की जानकारी दें | Aayush - RE

जैसे-जैसे बच्चा बड़ा होता जाता है, वह घर से बाहर निकलना शुरू करता है, तब आपके लिए उस पर भरोसा करना चुनौतीपूर्ण है। उन्हें ज़िम्मेदार होने का मौका देना होगा। तब बच्चा फील कर सकेगा कि आप उसके फैसलों पर भरोसा करते हैं। ऐसे बच्‍चे आगे चलकर अच्‍छे डिसीजन मेकर भी बनते हैं।

बच्चों पर भरोसा करें | Aayush - RE

परीक्षाओं के दौरान बच्चों को एंटी स्लीप पिल्स देना न पड़ जाए भारी

परीक्षाओं के दौरान बच्चों को एंटी स्लीप पिल्स देना न पड़ जाए भारी | -RE