सरकार के इस फैसले से आपकी प्रॉपर्टी रहेगी बिल्कुल सुरक्षित
हाइलाइट्स :
सरकार ने लिया प्रॉपर्टी से जुड़ा बड़ा फैसला
अब नहीं कर सकेगा कोई किसी की प्रॉपर्टी पर कब्ज़ा
ड्राफ्ट की चल रही तैयारी
जल्द ड्राफ्ट पहुंचेगा कैबिनेट में
नहीं कराया आधार लिंक तो नहीं होगी सरकार जिम्मेदार
राज एक्सप्रेस। आपने कई बार सुना होगा कि, फलाने व्यक्ति ने किसी की ज़मीन पर कब्ज़ा कर लिया, ऐसी कई घटनायें आप आम तौर पर सुनते ही होंगे। किसी और की ज़मीन पर अवैध रूप से कब्ज़ा कर लेना भी एक तरह का क्राइम है, इस तरह के क्राइम पर लगाम लगाने के लिए अब सरकार ने एक नया फैसला ले लिया है, सरकार ने अब प्रॉपर्टी को भी आधार से लिंक (Aadhar Link Property) करवाने का फैसला लिया है।
ड्राफ्ट की चल रही तैयारी :
अभी तक आपने अपना पेन कार्ड, मोबाईल नंबर और बैंक अकाउंट को आधार कार्ड से लिंक करवाया होगा, लेकिन अब आपको अपनी रियल प्रॉपर्टी की ऑनरशिप ( स्वामित्व) के लिए उसे भी आधार कार्ड से लिंक कराना होगा। ऐसा पहली बार हुआ है कि, सरकार ने किसी की संपत्ति की सुरक्षा का ध्यान रखते हुए कोई ऐसा फैसला लिया हो। जिसके लिए ड्राफ्ट तैयार किया जा रहा है, इतना ही नहीं इसके लिए 5 सदस्यों की एक्सपर्ट कमेटी भी बनाई गई है, ये कमेटी राज्यों से समन्वय करने का कार्य करेगी।
जुड़े मामले अधिकार क्षेत्र में :
किसी भी राज्य में ज़मीन से जुड़े मामले राज्यों के अधिकार क्षेत्र में आते हैं, इसलिए केंद्र सरकार यह मॉडल कानून तैयार करके राज्यों को देगा। आपकी जानकारी के लिए बता दें कि, 19 राज्यों में NDA की सरकार है, जिसके चलते यह कानून ज्यादातर राज्यों में लागू हो सकेगा। इसके अलावा सरकार प्रॉपर्टी से जुड़े मामलों के लिए ट्रिब्यूनल और हाईकोर्ट में स्पेशल बेंच का भी निर्माण करेगी, जिसके द्वारा इन मामलों को 5 साल में सुलझाया जा सके।
क्या होगा सरकार के इस फैसले से :
सरकार के आधार को प्रॉपर्टी से लिंक करने के फैसले से प्रॉपर्टी की खरीद-फरोख्त में किये जाने वाले फर्जीवाड़े पर लगाम लगेगी। इतना ही नहीं अभी तक जितनी भी प्रॉपर्टी बेनामी से खरीदी गई है या जिन पर कब्ज़ा किया गया है, उसकी जानकारी भी खुल कर सामने आ जाएगी। इससे प्रॉपर्टी से सम्बंधित क्राइम पर कंट्रोल किया जा सकेगा। साथ ही यदि किसी की ज़मीन पर कोई कब्जा करता है तो, सरकार की जिम्मेदारी होगी उसे छुड़ाना या उसके बदले मुआवजा देना। आपको यह भी बताते चलें कि, यदि किसी की प्रॉपर्टी से आधार लिंक नहीं है तब कोई कब्ज़ा करता है तो, सरकार जिम्मेदारी नहीं होगी।
ध्यान देने योग्य बिंदु :
भारत में प्रॉपर्टी से जुड़े करीब 1.30 करोड़ मुकदमे अदालतों में चल रहे हैं।
देश की GDP का लगभग 1.3% हिस्सा प्रॉपर्टी में लॉक है।
आधार लिंक होने से बहुत से मामले तुरंत ही सुलझ जाएंगे।
प्रॉपर्टी से आधार को लिंक कराना वैकल्पिक होगा।
रजिस्ट्रार ऑफिस में खसरा नंबर के आधार पर टाइटल जनरेट किया जाएगा।
जमीन बेचे जाने पर, रजिस्ट्री होते ही रिकाॅर्ड अपडेट हो जाएगा।
सरकार को समय-समय पर प्रॉपर्टी से जुड़ा अपडेट मिलता रहेगा।
नया कानून दो तरीकों से लागू होगा।
बेचते समय या ट्रांसफर (Incremental) करते समय आधार लिंक होगा।
जिलावार लागू करा कर।
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