साल 2022-23 में बढ़ी इलेक्ट्रिक दोपहिया वाहनों की बिक्री
साल 2022-23 में बढ़ी इलेक्ट्रिक दोपहिया वाहनों की बिक्रीSocial Media

साल 2022-23 में बढ़ी इलेक्ट्रिक दोपहिया वाहनों की बिक्री, यह रहे ताज़ा आंकड़े

भारत सरकार पिछले काफी समय से भारत में इलेक्ट्रिक वाहनों को लगातार बढ़ावा दे रही है। इस बड़े कारण के चलते इलेक्ट्रिक दोपहिया वाहनों की बिक्री साल 2022-23 में ढाई गुना बढ़ गई है।

ऑटोमोबाइल। आज दुनियाभर के साथ ही भारत में भी इलेक्ट्रिक वाहनों को लेकर काफी क्रेज बड़ा है। पेट्रोल- डीजल की बढ़ती कीमत के चलते हर कोई इलेक्ट्रिक वाहनों को पसंद कर रहा है। क्योंकि, इसको चलाने के लिए अन्य इंधन की जगह कम खर्चा आता है। इसके अलावा अब तक पूरी दुनिया में इलेक्ट्रिक वाहनों का निर्माण सिर्फ बड़ी-बड़ी वाहन निर्माता कंपनी ही करती आरही थी, लेकिन पिछले काफी समय से कई नई स्टार्टअप कंपनियों ने भी अपने इलेक्ट्रिक वाहन लांच किए हैं। इतना ही नहीं काफी समय से भारत सरकार भी भारत में इलेक्ट्रिक वाहनों को लगातार बढ़ावा दे रही है। इन सब के चलते इलेक्ट्रिक दोपहिया वाहनों की बिक्री साल 2022-23 में ढाई गुना बढ़ गई है।

साल 2022-23 में ढाई गुना :

दरअसल, भारत में चारपहिया वाहन से ज्यादा दोपहिया वाहन पसंद किए जाते हैं। अब ऐसे में जब मार्केट में दोपहिया इलेक्ट्रिक वाहनों में भी कई सारे ऑप्शन मिल रहे हैं तो, लोग बड़ी संख्या में इलेक्ट्रिक दोपहिया वाहन खरीद रहे हैं। इनसब कारणों से देश में ई-दोपहिया वाहनों की बिक्री 2022-23 में ढाई गुना बढ़ी और यह बढ़कर 8,46,976 यूनिट्स पर पहुंच गई है। जबकि, पिछले साल 2021-22 में कुल 3,27,900 ई-दोपहिया वाहनों की बिक्री हुई थी। ये ताज़ा आंकड़े ई-वाहन विनिर्माताओं के संगठन सोसायटी ऑफ मैन्युफैक्चरर्स ऑफ इलेक्ट्रिक व्हीकल (SMEV) द्वारा जारी किए गए हैं।

SMEV द्वारा जारी ताज़ा आंकड़े :

इलेक्ट्रिक वाहन विनिर्माताओं के संगठन सोसायटी ऑफ मैन्युफैक्चरर्स ऑफ इलेक्ट्रिक व्हीकल (SMEV) द्वारा जारी आंकड़ों के अनुसार, वित्त वर्ष 2022-23 में 31 मार्च को समाप्त हुए साला में अधिकतम 25 किलोमीटर की रफ्तार वाले 1.2 लाख इलेक्ट्रिक स्कूटर की बिक्री हुई। जबकि, साल 2021-22 के दौरान कुल 75,457 इलेक्ट्रिक स्कूटर बिके थे। इसके अलावा यदि 25 किलोमीटर से अधिक रफ्तार वाले इलेक्ट्रिक दोपहिया वाहनों की बिक्री की बात करें तो, कुल 7,26,976 यूनिट्स की बिक्री हुई। जबकि, पिछले साल 2021-22 में ई-स्कूटरों की बिक्री 2,52,433 यूनिट्स हुई थी।

SMEV के महानिदेशक का कहना :

SMEV के महानिदेशक सोहिंदर गिल ने कहा, 'देशभर में ई-वाहनों की स्वीकार्यता तेजी से बढ़ाने के लिए सरकार को अन्य प्रयास करने होंगे। ई-वाहन पारिस्थितिकी तंत्र के विकास को प्रोत्साहित करने व इसे आत्मनिर्भर बनाने के लिहाज से कम-से-कम 3-4 साल के लिए फेम योजना का विस्तार करना होगा। बिक्री में तेज वृद्धि के बावजूद 2022-23 के दौरान ई-दोपहिया वाहनों की स्वीकार्यता की दर नीति आयोग के लक्ष्य से 25% से अधिक पीछे रही है। फेम-2 योजना के तहत चरणबद्ध विनिर्माण कार्यक्रम (PMP) के दिशानिर्देशों का पालन नहीं करने की वजह से सब्सिडी जारी नहीं किए जाने से इन वाहनों की बिक्री प्रभावित हुई है। बीते वित्त वर्ष 2022-23 के दौरान सिर्फ 5 फीसदी अनुकूलन होने से 30 फीसदी का अल्पावधि लक्ष्य हासिल कर पाना एक सपना ही लग रहा है। हालांकि, फेम-2 के चरणबद्ध विनिर्माण कार्यक्रम की पात्रता शर्तों को दो साल तक बढ़ाकर और अप्रैल, 2023 से इसे सख्ती से लागू कर चीजों को पटरी पर लाया जा सकता है।'

कंपनियों का कहना :

वहीं, वाहन निर्माता कंपनियों का कहना है कि, 'लोगों ने ई-वाहनों को लेकर रुझान बढ़ रहा है। चालू वित्त वर्ष यानी 2023-24 में करीब 15 लाख ई-दोपहिया वाहन बिक सकते हैं। फिर भी, यह नीति आयोग के महत्वाकांक्षी लक्ष्य 23 लाख से कम है।'

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