मॉडर्ना द्वारा तैयार कोरोना वैक्सीन 94% से ज्यादा प्रभावी

अमेरिका की कंपनी मॉडर्ना (Moderna) ने भी कोरोना वायरस की वैक्‍सीन तैयार करने का दवा किया है। साथ ही उन्होंने बताया कि, उनके द्वारा तैयार की गई कोरोना वैक्सीन 94% से ज्यादा प्रभावी है।
Corona vaccine prepared by Moderna is more than 94% effective
Corona vaccine prepared by Moderna is more than 94% effectiveSocial Media

राज एक्सप्रेस। जब से इस पूरी दुनिया में कोरोना वायरस का प्रकोप बढ़ा है, तब से ही दुनियाभर के अनेक देश कोरोना की दवाई और वैक्सीन तैयार करने में लगे हुए हैं। हालांकि, कई देशों ने कोरोना की वैक्सीन बनने का दावा किया था, लेकिन सभी देश उसका परीक्षण कर रहे हैं। हालांकि, रूस के बाद से अभी तक कोई भी देश वैक्सीन तैयार नहीं कर सका है। वहीं, अब छिड़ी हुई कोरोना की जंग के बीच अमेरिका से भी अच्‍छी खबर सामने आई है।

मॉडर्ना की कोरोना वैक्सीन 94% से ज्यादा प्रभावी :

दरअसल, अमेरिका की कंपनी मॉडर्ना (Moderna) ने भी कोरोना वायरस की वैक्‍सीन तैयार करने का दावा किया है। साथ ही उन्होंने बताया कि, उनके द्वारा तैयार की गई कोरोना वैक्सीन 94% से ज्यादा प्रभावी है। इस दावे के साथ ही मॉडर्ना कंपनी ने दुनिया के सामने जल्द ही कोरोना वैक्सीन पेश करने की उम्मीद जगा दी है। Moderna कंपनी ने सोमवार को ऐलान कर बताया कि, कंपनी की प्रायोगिक वैक्सीन कोरोना वायरस का खात्मा करने में 94.5% असरदार साबित हुई है। बता दें, कंपनी ने यह प्रतिक्रिया लगभग 30 हजार वालेंटियर्स पर क्लीनिकल ट्रायल पूरा करने के बाद ही दी है।

मॉडर्ना के CEO ने बताया :

मॉडर्ना के CEO स्टीफेन बैंसेल ने बताया कि, 'तीसरे चरण के क्लीनिकल ट्रायल के अध्ययन से हमें सकारात्मक नतीजे मिले हैं और हमारी वैक्सीन कई गंभीर बीमारियों के साथ Covid-19 वैक्सीन को रोकने में कारगर साबित हो सकती है।' हालांकि, यह पहली बार नहीं हुआ है कि, अमेरिका की किसी कंपनी ने वैक्सीन को लेकर दावा किया हो। इससे पहले भी अमेरिका की ही एक और दवा कंपनी फाइजर ने भी वैक्सीन के 90 फीसदी से ज्यादा प्रभावी होने का दावा किया था। बता दें, फिलहाल अमेरिका की मॉडर्ना, फाइजर के साथ ऑक्सफोर्ड-एस्ट्राजेनेका भी कोरोना वैक्सीन तैयार करने में सबसे आगे है।

कुछ हफ्तों में मिल सकती है मंजूरी :

मॉडर्ना कंपनी ने बताया है कि, 'यह ऐतिसाहिक दिन है और हम अगले कुछ हफ्तों में वैक्सीन को मंजूरी के लिए आवेदन दाखिल करेंगे। वैक्सीन की दो खुराक चार हफ्तों के अंतराल में 50% वालेंटियर को दी गई थी। बाकी 50% को प्लेसबो (नाममात्र) वैक्सीन दी गई है। ट्रायल के दौरान 11 ऐसे प्रतिभागियों को चुना गया, जो कोरोना के गंभीर मरीज थे। हालांकि टीकाकरण के कारण अन्य वालंटियर में वायरस नहीं फैला। मॉडर्ना के मुख्य चिकित्सा अधिकारी टैल जैक्स ने बताया है कि, यह वैक्सीन लगभग पूरी तरह से प्रभावी साबित हुई है।

फाइजर और बायोनटेक का कहना :

फाइजर और बायोनटेक दोनों कंपनियों का कहना है कि, ‘इस साल के अंत में या अगले साल की शुरुआत में उपलब्ध कराना शुरू कर दिया जाएगा।' जबकि कंपनियों ने पिछले सप्ताह कहा था कि, हमारे द्वारा तैयार की गई वैक्सीन के विश्लेषण से पता चला है कि, 'यह 90 प्रतिशत से अधिक लोगों को कोविड-19 से बचाने में कारगर हो सकता है। वैक्सीन निर्माण की इस कवायद में 43,000 वालंटियर ने जांच में भाग लिया था।'

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