तो भारतीय अर्थव्यवस्था 10 ट्रिलियन डॉलर की होगी - मेहता

"यदि भारत सफलतापूर्वक ऐसा करने में सक्षम रहता है, तो अगले 12-15 वर्षों में 10 ट्रिलियन डॉलर की अर्थव्यवस्था बन जाएगा।”- HUL के बॉस का मंत्र
एचयूएल चेयरमैन संजीव मेहता ने फिक्की अध्यक्ष संगीता रेड्डी से भारतीय अर्थव्यवस्था के भविष्य के बारे में विचार साझा किए।
एचयूएल चेयरमैन संजीव मेहता ने फिक्की अध्यक्ष संगीता रेड्डी से भारतीय अर्थव्यवस्था के भविष्य के बारे में विचार साझा किए।- Social Media

हाइलाइट्स –

  • एचयूएल के बॉस ने दिया मंत्र

  • USA-CHINA तल्खी भारत का अवसर

  • लक्ष्य मध्यम आय वाला देश बनाना हो

  • डेढ़ दशक में हासिल हो सकता है टारगेट

राज एक्सप्रेस। जहां भारत कोरोनो वायरस महामारी के बीच आर्थिक गिरावट का सामना कर रहा है इसके बावजूद एफएमसीजी प्रमुख हिंदुस्तान यूनिलीवर लिमिटेड (एचयूएल-HUL) के चेयरमैन संजीव मेहता आश्वस्त हैं कि भारत आगामी चंद सालों में 10 ट्रिलियन डॉलर की अर्थव्यवस्था बन जाएगा। बशर्ते उस दिशा में कुछ कदम उठाए जाएं।

'ब्लैक स्वान इवेंट -

उन्होंने उन लोगों से असहमति जताई जो कोरोनो वायरस महामारी को 'ब्लैक स्वान इवेंट' मानते हैं। वे कहते हैं "अनिवार्य रूप से यह बेतहाशा भागते काले हाथियों का एक झुंड है।"

मध्यम आय वाला देश -

फेडरेशन ऑफ चेंबर ऑफ कॉमर्स एंड इंडस्ट्री (FICCI-फिक्की) यानी भारतीय वाणिज्य और उद्योग महासंघ अध्यक्ष संगीता रेड्डी से हुई चर्चा उन्होंने कहा कि भारत को मध्यम आय वाला देश बनाना प्रमुख लक्ष्य होना चाहिए।

"भारत को एक मध्यम आय वाला देश बनाने के लिए हमें 6 से 6.5 प्रतिशत की गहरी खाई पाटनी होगी, जिसे हमने पिछले 30 वर्षों में पाया है। 8-10 प्रतिशत जैसी विकास दर तक हमें डेढ़ दशक में पहुंचना होगा।"

संजीव मेहता, चेयरमैन एवं प्रबंध निदेशक, HUL (हाल ही में फिक्की अध्यक्ष संगीता रेड्डी से हुई चर्चा का अंश)

तो अर्थव्यवस्था $10 ट्रिलियन -

भारतीय अर्थव्यवस्था की बेहतरी के लिए आशान्वित HUL के चेयरमैन मेहता ने कहा कि "यदि भारत सफलतापूर्वक ऐसा करने में सक्षम रहता है, तो अगले 12-15 वर्षों में 10 ट्रिलियन डॉलर की अर्थव्यवस्था बन जाएगा।संजीव मेहता हिंदुस्तान यूनिलीवर के चेयरमैन एवं प्रबंध निदेशक और फिक्की के उपाध्यक्ष हैं।

कोरोना से विश्व प्रभावित -

उन्होंने कहा कि कोरोना वायरस महामारी ने दुनिया भर की अर्थव्यवस्थाओं को तबाह कर दिया है और भारत भी इससे अछूता नहीं। वैश्विक व्यापार के संदर्भ में महामारी के निहितार्थ भी गहरे होंगे।

USA-CHINA खटास एक अवसर -

दुनिया की दो सबसे बड़ी अर्थव्यवस्थाओं संयुक्त राज्य अमेरिका (USA) और चीन (CHINA) के बीच संबंधों की खटास को HUL चैयरमैन मेहता ने भारत के व्यापारिक अवसरों लिए सुनहरा मौका करार दिया।

मेहता ने कहा कि दोनों देशों के मध्य दो-तरफा व्यापार 650 बिलियन डॉलर का था जो 100 बिलियन डॉलर पर खिसक सकता है। भारत को इस अवसर को भुनाने के लिए कमर कसकर तैयार रहना चाहिए।

उन्होंने कोरोना वायरस महामारी को बड़ा संकट मानते हुए कोविड-19 से वैश्विक तौर पर बृहद स्तरीय प्रतिकूल प्रभाव पड़ने की बात कही।

उन्होंने कहा कि “यह सिर्फ एक आर्थिक संकट के बारे में नहीं है; यह एक स्वास्थ्य और सामाजिक संकट भी है और दुनिया में बड़े पैमाने पर इसके दूरगामी प्रभाव होंगे।”

डिस्क्लेमर – आर्टिकल प्रचलित रिपोर्ट्स पर आधारित है। इसमें शीर्षक-उप शीर्षक और संबंधित अतिरिक्त प्रचलित जानकारी जोड़ी गई हैं। इस आर्टिकल में प्रकाशित तथ्यों की जिम्मेदारी राज एक्सप्रेस की नहीं होगी।

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