कोरोना के डर से पानी पर पहरा, बाहरी लोगों की आवाजाही बंद
राज एक्सप्रेस। वैश्विक महामारी कोरोना से जहां देशभर में हाहाकार मचा हुआ है वहीं छत्तीसगढ़ के जशपुर जिले में 16 प्रवासी मजदूरों के कोरोना संक्रमित पाए जाने के बाद गांवों में बाहरी लोगों की आवाजाही बन्द करने के साथ इस महामारी के डर से ग्रामीणों ने तालाब के पानी पर भी पहरा लगा दिया है।
आपको बताते चलें कि पत्थलगांव - जशपुर मार्ग पर स्थित काईकछार ग्राम पंचायत ने गांव में बाहरी लोगों द्वारा तालाब के पानी का उपयोग करने पर पांच हजार रुपये अर्थदंड का भी प्रावधान किया है। इस मार्ग पर काईकछार गांव में मुख्य सड़क के किनारे स्थित तालाब के चारों ओर घेराव कर ऐसा ही बैनर लगाया गया है। ग्रामीण समीप बैठ कर देखरेख भी कर रहे हैं।
ग्राम पंचायत काईकछार के सरपंच एनबिल उराँव ने आज बताया कि इस मुख्य सड़क से ट्रकों पर सवार होकर महाराष्ट्र तथा अन्य राज्यों से आने वाले मजदूर झारखंड, बिहार में अपने गांव लौट रहे हैं। महाराष्ट्र के प्रवासी मजदूरों को जगह जगह कोरोना संक्रमित मिलने की जानकारी सुनकर ग्रामीणों की सुरक्षा के लिए यह कदम उठाया गया है।
सरपंच ने बताया कि इस मार्ग से ट्रकों पर सवार होकर वापस लौट रहे मजदूर यहां हाथ मुंह धोने के साथ कपड़े धोते हैं। इससे आसपास कोरोना संक्रमण फैलने की आशंका है। इसी भयवश ग्रामीणों ने तालाब पर पहरा बैठा दिया है।
डिस्क्लेमर: यह आर्टिकल न्यूज एजेंसी फीड के आधार पर प्रकाशित किया गया है। सिर्फ शीर्षक में बदलाव किया गया है। अतः इस आर्टिकल अथवा समाचार में प्रकाशित हुए तथ्यों की जिम्मेदारी राज एक्सप्रेस की नहीं होगी।
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