इंदौर : खासगी ट्रस्ट के मंदिरों को अपने कब्जे में लेगा प्रशासन

इंदौर, मध्य प्रदेश : हाईकोर्ट के आदेश के बाद प्रशासन ने खासगी ट्रस्ट के मंदिरों और जमीनों को अपने कब्जे में लेने की शुरुआत कर दी है।
खासगी ट्रस्ट के मंदिरों को अपने कब्जे में लेगा प्रशासन
खासगी ट्रस्ट के मंदिरों को अपने कब्जे में लेगा प्रशासनSocial Media

इंदौर, मध्य प्रदेश। हाईकोर्ट के आदेश के बाद प्रशासन ने खासगी ट्रस्ट के मंदिरों और जमीनों को अपने कब्जे में लेने की शुरुआत कर दी है। पहली कार्रवाई करते हुए कलेक्टर द्वारा सभी एसडीएम और तहसीलदारों को मंदिर और भूमियों की सूची जारी करते हुए मंदिरों का व्यवस्थापन लेने और भूमियों पर स्वामित्व दर्ज कराने के आदेश दिए। आदेश मिलते ही प्रशासन का दल कुछ मंदिरों पर पहुंचा और पुजारियों को शासन का आदेश थमाया। वहीं राजस्व निरीक्षक और पटवारी की टीमों को उल्लेखित भूमियों का कब्जा लेने दौड़ाया।

जिला प्रशासन द्वारा शहर के लगभग दो दर्जन मंदिरों और उनसे संबंधित भूमियों के कब्जे लेने का आदेश जारी किया गया था। इस आदेश में जहां राजबाड़ा के प्रसिद्ध महालक्ष्मी मंदिर, हरसिद्धि मंदिर, किला मैदान स्थित गुटकेश्वर मंदिर, खेड़ा पति मंदिर सहित अन्य मंदिर शामिल हैं। वहीं हातोद, तिल्लौरखुर्द, केवादिया, देवगुराड़िया, पीपल्दा, सांवेर की जमीनें भी शामिल हैं। इनमें सबसे बड़ा रकबा हातोद के श्रीराम मंदिर, तिल्लौर के तिलकेश्वर महादेव मंदिर, देवगुराडिय़ा के गुटकेश्वर महादेव मंदिर और सांवेर के जबरेश्वर मंदिर का है। कलेेक्टर द्वारा मंदिरों के व्यवस्थापन के आदेश दिए जाने के बाद पुजारियों की जहां यथास्थिति रखी जाएगी, वहीं जमीनों पर भी खेती कर रहे लोगों का पंचनामा बनाकर यह जानकारी इकट्ठा की जा रही है कि किस हैसियत से उनके द्वारा खेती की जा रही है।

गांवों में भी है बड़ी जमीनें :

जिला प्रशासन द्वारा जारी की गई सूची में ग्राम हातोद, तिल्लोर खुर्द, केवादिया, दुवगुराडिय़ा, पीपलदा, सांवेर की भूमियों के कब्जे लेने के निर्देश दिए गए हैं इनमें सर्वाधिक भूमि चार मंदिरों के नाम पर है जिनमें हातोद के श्रीराम मंदिर के नाम पर जहां 53.378 हेक्टेयर भूमि है वहीं तिल्लौर खुर्द के तिलकेश्वर महादेव के नाम पर 23.257 हेक्टेयर भूमियां दर्ज हैं। इसके अलावा तिल्लौर खुर्द के ही श्रीरा मंदिर की भूमि 4.88 हेक्टेयर है तो केवादेश्वर महादेव मंदिर की भूमि 2.863 हेक्टेयर है। इसके अलावा देवगुराडिय़ा के प्रसिद्ध गुटकेश्व महादेव मंदिर की भूमि जहां 9.802 हेक्टेयर है वहीं सांवेर के जबरेश्वर महादेव मंदिर के पास 9.383 हेक्टेयर भूमि है। इसके अलावा ग्राम पीपल्दा के गणपति मंदिर की भूमि 3.868 हेक्टेयर तो केवदिया के केवादेश्व महादेव मंदिर की भूमि 2.225 हेक्टेयर है। इन सभी भूमियों पर पंचनामा बनाने आज प्रशासन पहुंचेगा।

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