हाइलाइट्स :
फर्जी सर्टिफिकेट लेकर इंटरव्यू में पंहुचा युवक
पूछताछ करने पर पता चला पैसे देकर बनवाये थे सर्टिफिकेट
SBI में PO पद के लिए चल रहे थे इंटरव्यू
राज एक्सप्रेस। अक्सर किसी जॉब के लिए इंटरव्यू के दौरान आपके द्वारा प्राप्त किये हुए अंक पूछे जाते है, कभी-कभी तो इन नंबर्स के आधार पर ही आपका चयन हो जाता है, जरा सोचिये, अगर कही ऐसा हो जाये कि, इंटरव्यू लेने वाला आपके नंबर्स देखे तो, उसमे आपके प्राप्तांक, पूर्णांक से अधिक हो तो, इसका उस पर क्या असर पड़ेगा ? जी हां, ऐसा ही एक किस्सा सामने आया है।
क्या था किस्सा :
पटना के स्टेट बैंक में पीओ पद के लिए इंटरव्यू देने आये एक अभ्यर्थी (Fake Certificate Patna News) की इंटरव्यू के दौरान मार्कशीट देख कर इंटरव्यू लेने वाला तब हैरान रह गया जब उसके सर्टिफिकेट में पूर्णांक से ज्यादा प्राप्तांक दिखे, इतना ही नहीं उसके सर्टिफिकेट में कुल आठ विषय में से तीन विषय में प्राप्तांक, पूर्णांक से अधिक थे, दरअसल यह 3 विषय के पूर्णांक 50 नंबर थे और प्राप्तांक एक में 68, दूसरे में 71 और तीसरे में 73 नंबर थे। यह सर्टिफिकेट तमिलनाडु की एक यूनिवर्सिटी का था जो, उसे 20 मई 2015 को मिला था। इंटरव्यू लेने वाला यह देख कर हैरान था कि, इस सर्टिफिकेट पर पत्रकों की संख्या और स्नातक प्रमाणपत्र पर पत्र संख्या के साथ-साथ यूनिवर्सिटी की सील और हस्ताक्षर भी किये हुए थे।
फर्जी डिग्री का मामला दर्ज :
इस मामले में फर्जी डिग्री लेने का मामला दर्ज हुआ है, यह मामला गांधी मैदान थाना पुलिस ने दर्ज किया है। इतना ही नहीं इस फर्जी डिग्री मामले में मधेपुरा के SBI घेलार शाखा में सहायक पद पर तैनात सावन कुमार को भी जेल में डाल दिया गया है। वह स्टेट बैंक ऑफ इंडिया में PO पद के लिए हो रहे इंटरव्यू के लिए SBI के प्रधान कार्यालय में पहुंचा था। यहां फर्जी सर्टिफिकेट देख इसे जेल में डाल दिया गया।
PO पद के लिए चल रहे थे इंटरव्यू :
आपकी जानकारी के लिए बता दे कि, SBI बैंक के स्थानीय प्रधान कार्यालय में 16 से 27 सितंबर तक PO पद के लिए इंटरव्यू चल रहे थे। इसी इंटरव्यू में पूर्णिया के मरंगा स्थित वर्मा कॉलोनी में रहने वाले सावन कुमार भी इंटरव्यू देने के लिए शामिल हुए थे। इस इंटरव्यू के दौरान उसके कक्षा इंटर (12th) तक के सर्टिफिकेट तो सही मिले, लेकिन स्नातक के फर्जी सर्टिफिकेट देख इंटरव्यू लेने में व्यस्त अधिकारी भौचक्कें रह गए, उन्होंने वहाँ उपस्थित सभी लोगों से ये किस्सा साझा किया और पुलिस को खबर दी।
जांच-पड़ताल से पता चला :
सावन कुमार से पूछताछ करने पर पता चला कि, उसने स्नातक का सर्टिफिकेट दिलाने वाले एक गिरोह से संपर्क किया था जो, एडमिशन करने से लेकर परीक्षा शुल्क भी लेते है, उसने भी उन्हें अपने स्नातक के लिए सर्टिफिकेट के लिए पैसे दिये थे और डाक द्वारा उसका सर्टिफिकेट घर आया था, लेकिन उसने बिना चेक करे ही सर्टिफिकेट रख लिए और उसे इस बात की जानकारी नहीं थी कि, उसके प्राप्तांक, पूर्णांक से अधिक है। इतना ही नहीं उसने यह भी स्वीकार किया है कि, उसने इंटरव्यू के दौरान अपने फर्जी सर्टिफिकेट दिखाए थे। पुलिस द्वारा सावन कुमार के शैक्षणिक एवं अन्य दस्तावेजों की जांच भी की जा रही है।
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