कोई भी शख्स अब खुद कर सकेगा अपना एचआईवी टेस्ट

देश में गर्भ सेल्फ टेस्ट किट की तर्ज पर अब एचआईवी सेल्फ टेस्टिंग किट का उपयोग शुरू होगा। इस किट के माध्यम से कोई भी शख्स आसानी से स्वयं अपना एचआईवी टेस्ट कर सकता है।
कोई भी शख्स अब खुद कर सकेगा अपना एचआईवी टेस्ट
कोई भी शख्स अब खुद कर सकेगा अपना एचआईवी टेस्टसांकेतिक चित्र

हाइलाइट्स :

  • देश में उपलब्ध होगी एचआईवी सेल्फ टेस्टिंग किट।

  • मप्र के कुछ जिलों में होगा किट का ट्रायल अध्ययन।

राज एक्सप्रेस। देश में गर्भ सेल्फ टेस्ट किट की तर्ज पर अब एचआईवी सेल्फ टेस्टिंग किट (HIV Self Testing Kit) का उपयोग शुरू होगा। इस किट के माध्यम से कोई भी शख्स आसानी से स्वयं अपना एचआईवी टेस्ट (HIV Self Test) कर सकता है। एचआईवी सेल्फ टेस्टिंग किट के ट्रायल के लिए मप्र के कुछ जिलों में उपयोग करने पर प्राप्त परिणामों की रिपोर्ट तैयार कर अध्ययन किया जाएगा। किट के ट्रायल नतीजों के आधार पर इसे सर्वजानिक तौर पर उपलब्ध करवाया जाएगा।

राष्ट्रीय एड्स नियंत्रण संगठन (नाको) द्वारा साल 2030 तक देश से एचआईवी को समाप्त करने का लक्ष्य निर्धारित किया गया है। इस लक्ष्य को प्राप्त करने की दिशा में नाको ने नई पहल की है, देश में अब एचआईवी सेल्फ टेस्टिंग किट उपलब्ध करवाई जा रही है। इस किट से बिना प्रयोगशाला और सरकारी टेस्ट सेंटर जाए कोई भी अपना एचआईवी टेस्ट कर कुछ ही समय में रिपार्ट प्राप्त कर सकता है। राष्ट्रीय एड्स नियंत्रण संगठन ने देश के कुछ इलाकों में किट के ट्रायल के लिए स्वयं सेवी संस्थाओं को जिम्मेदारी सौंपी है। यह संस्थाएं संबधित राज्य की एड्स नियंत्रण समिति के साथ मिलकर चिन्हित जिलों में कुछ लोगों को एचआईवी सेल्फ टेस्टिंग किट देकर उनका टेस्ट करवाएगी। टेस्ट किट का उपयोग करने वाला शख्स टेस्ट परिणाम को संस्था की टीम के साथ साझा करेगा। परिणाम को अध्ययन के लिए सुरक्षित रखा जाएगा। इस किट से अनेक लोगों का एचआईवी टेस्ट कर प्राप्त नतीजों की रिपोर्ट तैयार कर उसका विस्तार से अध्ययन होगा। इसके बाद ही एचआईवी सेल्फ टेस्टिंग किट को सभी लोगों के लिए उपलब्ध करवाई जाएगी।

किट से कैसे होगा टेस्ट :

ट्रायल अध्ययन के दौरान तीन तरह की टेस्ट किट का उपयोग किया जाएगा। पहले किट में ओराक्विक (लार से जांच), दूसरा इंस्टी और तीसरा माइलेन (रक्त से जांच) के माध्यम से एचआईवी टेस्ट किया जा सकता है। किट्स के उपयोग का तरीका टेस्ट अध्ययन में शामिल होने वाले व्यक्ति को बताया जाएगा। प्रशिक्षण के बाद कोई व्यक्ति अपना एचआईवी टेस्ट आसानी से कर लेगा।

क्यों बनायी गई टेस्टिंग किट :

एचआईवी टेस्ट के अभी सरकारी अस्पातालों में जाना होता है। वहां अन्य लोगों की मौजूदगी होने से जांच करने पहुंचने वाला व्यक्ति संकोच करता है और बिना जांच करवाए ही लौट जाता है। इस परेशानी को देखते हुए नाको जांच को आसान बनाने के लिए एचआईवी सेल्फ टेस्टिंग किट का प्रयोग शुरू कर रहा है। एचआईवी सेल्फ टेस्टिंग किट आम लोगों में एचआईवी टेस्ट को लेकर मौजूद झिझक का समाप्त कर देगी।

इनका कहना है :

साल 2030 तक देश से एचआईवी को समाप्त करने का लक्ष्य रखा गया है। इस लक्ष्य को हासिल करने के लिए एचआईवी जांच को आसान बनाना जरूरी है। इसके लिए ही राष्ट्रीय एड्स नियंत्रण संगठन (नाको) द्वारा एचआईवी सेल्फ टेस्टिंग किट को उपलब्ध करवाया जा रहा है। अभी विभिन्न तीन किट के माध्यम से अध्ययन किया जाएगा। उसके बाद किट सर्वजानिक तौर पर उपलब्ध होगी।

अलोक सक्सेना, डायरेक्टर जनरल, राष्ट्रीय एड्स नियंत्रण संगठन

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